Wednesday, 22 August 2018

Twinkle

ਅੱਜ ਟਵਿੰਕਲ ਬੇਟੇ, ਜੇ ਆਪ ਨੇ ਸਾਡੀ ਦੁਖਦੀ ਰਗ ਤੇ ਹੱਥ ਰਖਿਆ ਹੈ, ਕਾਰਣ ਕਿ ਆਪ ਮੇਰੇ ਹੱਥ ਦੀ ਚਿੱਠੀ ਪੜ ਚੁੱਕੇ ਹੋ। ਜੋ ਮੈਂ ਆਪਣੇ ਭਰਾ ਨੂੰ ਇਸ ਕਰਕੇ ਪਾਈ ਸੀ ਕਿ ਕੱਲ ਨੂੰ ਕੁੜੀ ਵਾਲੇ ਬਿਨਾ ਵਜਾ ਦਾਜ਼ ਜਾਂ ਸੱਸ ਵਲੋਂ ਕੁਟਾਪਾ, ਸੋਰੇ ਵਲੋਂ ਛੇੜਖਾਨੀ ਦੇ ਆਰੋਪ ਵਿੱਚ ਸਾਨੂੰ ਤਿੰਨਾਂ ਨੂੰ ਪੁਲਿਸ ਬੰਦ ਕਰੇ, ਤੇ ਪਿੱਛੋਂ ਪੈਣ ਵਾਲੀ ਅਫਵਾਹਵਾਂ ਤੋਂ ਸਾਵਧਾਨ ਹੋ ਜਾਓ ਕਿਉਂਕਿ ਬਦਕਿਸਮਤੀ ਨਾਲ ਮੈਂ ਵੀ ਗਲਤੀ ਨਾਲ ਗੰਭੀਰ ਖ਼ਾਨਦਾਨ ਵਿਚ ਪੈਦਾ ਹੋਇਆ ਹਾਂ ਕਿ ਖਾਮ ਖਾਂ ਆਪ ਭੀ ਬਦਨਾਮ ਹੋਵੋ। ਕੁੜੀ ਦੇ ਵਕੀਲ ਤੇ ਨੇੜੇ ਤੇੜੇ ਦੇ ਰਿਸ਼ਤੇਦਾਰ ਵੀ ਲਪੇਟ ਵਿਚ ਲੈ ਲੈਂਦੇ ਹਨ।
ਮੈਨੂੰ ਇਸ ਗੱਲ ਦਾ ਵੀ ਕੋਈ ਐਤਰਾਜ ਨਹੀਂ ਕਿ ਉਨ੍ਹਾਂ ਇਹ ਚਿੱਠੀ ਆਪ ਨਾਲ ਸਾਂਝ ਕੀਤੀ।

ਗੁੱਸਾ ਤੇ ਮੈਨੂੰ ਆਪਣੇ ਭਤੀਜੇ ਤੇ ਹੈ ਜੋ ਆਪਣੇ ਚਾਚੇ ਨੂੰ ਬੇਵਕੂਫ ਅਤੇ ਆਪਣੇ ਆਪਨੂੰ ਸਭਤੋਂ ਸਿਆਣਾ ਸਮਝਦਾ ਹੈ। ਆਪ ਦੇ ਪਰਿਵਾਰ ਨਾਲ ਅਣਬਣ ਤੇ ਜੈਦੀਪ ਦੀ ਸਗਾਈ ਤੋਂ ਹੋ ਗਈ ਸੀ।ਕਿ AT A TIME ਆਪਦੇ ਨੇੜੇ ਰੱਖੇ ਪ੍ਰੋਗਰਾਮ ਤੋਂ ਆਪ ਕਿਸੇ ਬਹਾਨੇ ਅੱਡ ਹੋ ਗਏ ਸੀ। ਖੇਡ ਦੀ ਸਮਾਪਤੀ ਮਿੱਕੀ ਨੇ ਸ਼ੈਂਕੀ ਦੇ ਗ੍ਰਹਿ ਪ੍ਰਵੇਸ਼ ਤੇ ਹੋਣ ਵਾਲੇ ਕਾਕੇ ਦੀ ਵਧਾਈ ਵਜੋਂ ਜੋਨਿ ਦੇ  ਚੋਕਾ ਮਾਰਨ ਦੀ ਗੱਲ ਤੋ ਦਿਤੀ ਸੀ, ਜੱਦਕੀ ਆਪਣਾ ਮਾਰਿਆ ਛੱਕਾ ਦਸਣਾ ਜਾਣ ਬੁਝ ਕੇ ਭੁਲ ਗਿਆ। ਉਪਰੋਂ ਆਪ ਦਾ ਬਿਆਨ ਕਿ "ਇਹ ਕੋਈ ਢਿੰਡੋਰਾ ਪਾਉਣ ਵਾਲੀ ਗੱਲ ਹੈ" ਕਿਉਂਕਿ ਆਪ ਦੀ ਸੱਸ ਨਹੀਂ ਹੈ। ਘਟੋ ਘਟ ਆਪਣੀ ਚਾਚੀ ਨੂੰ ਹੀ ਇਹ ਰੁਤਬਾ ਬਖਸ਼ ਦੇਂਦੇ। । ਆਪਣਾ ਅਸੂਲ ਹੈ ਕਿ ਅਸੀਂ ਨ ਕੋਈ ਦੁੱਖ ਛੁਪਾਇਆ ਹੈ ਨ ਖੁਸ਼ੀ। ਪਤਾ ਨਹੀਂ ਲੋਕੀਂ ਕਿਵੇਂ ਇਹ ਸਭ ਗੱਲਾਂ ਢਿੱਡ ਵਿਚ ਸੋਹਰੇ ਘਰ ਲਈ ਛੁਪਾਉਨ ਲਈ ਰੱਖਦੇ ਹਨ। ਮਾਇਕੇ ਵਾਸਤੇ ਨਹੀਂ।  ਆਪ ਵੱਲੋਂ ਰੱਖੀ ਜੈਦੀਪ ਦੀ ਰੋਟੀ ਤੇ ਜੋ ਇੱਜਤ ਜਾਂ ਗਿਫ਼੍ਟ ਦਿਤਾ ਉਹ ਵੀ ਵਰਨਣ ਯੋਗ ਹੈ ਪਰ ਛੱਡੋ!

ਇਹ ਸਭ ਕੁਝ ਜਾਣਦੇ ਹੋਏ ਵੀ ਜੇ ਮੀਕੀ ਨੂੰ ਅਫਸੋਸ ਨਹੀਂ ਤਾਂ ਵੀ ਕੋਈ ਗੱਲ ਨਹੀਂ ।ਆਪਾਂ ਕਿਹੜੀ ਹਾਲੀਂ ਜੇਹਦਾਦ ਵੰਡਣੀ ਹੈ। ਸਿਰਫ ਇਕ ਦੂਜੇ ਭਰਾ ਦੇ ਅਫਸੋਸ ਅਤੇ ਭੋਗ ਦੀ ਵਾਰੀਆਂ ਰਹਿ ਗਈਆਂ ਹਨ।
ਆਪ ਨੂੰ ਉਹ ਦਿਨ ਵੀ ਯਾਦ ਹੋਏਗਾ ਜਦ ਆਪ ਦੇ ਘਰ ਭਰਜਾਈ ਦੇ ਰਹਿੰਦੇ ਕਲੇਸ਼ ਹੋਇਆ ਸੀ ਤਾਂ ਕਿਵੇਂ ਮੀਕੀ ਦੇ ਇਕ ਫੋਨ ਤੇ ਅਸੀਂ ਦੋਵੇਂ ਚਾਚਾ ਚਾਚੀ ਅਤੇ ਵੱਡੇ ਵੀਰ ਜੀ ਭੱਜੇ ਭੱਜੇ ਪਹੁੰਚੇ ਸੀ ਕਿ ਮੀਕੀ ਕਹਿੰਦਾ ਕਿ ਜੇ ਨ ਆਏ ਤਾਂ ਮੈਂ ਮਰ ਜਾਵਾਂਗਾ।
ਸਾਡੇ ਤੇ ਪਹਾੜ ਟੁਟਿਆ ਹੈ ਫਿਰ ਵੀ ਕੋਈ ਨਹੀਂ ਇਕੱਲੇ ਹੀ ਖੜੇ ਹਾਂ। ਰਹੀ ਗੱਲ ਬੰਦ ਹੋਣ ਦੀ ਉਸਦਾ ਮੇਰਾ ਤਜੁਰਬਾ ਮੀਕੀ ਨੇ ਦਸ ਹੀ ਰਖਿਆ ਹੋਵੇਗਾ। ਕਿ ਕਿੰਨੀ ਵਾਰੀ ਹੋਇਆ ਹਾਂ
ਹੋਰ ਸਭ ਤੁਆਡੇ ਪੇਕੇ ਵਾਲੇ ਠੀਕ ਹਨ । ਅੱਛਾ ਜੀ । ਗਲਤੀ ਦੀ ਮਾਫ਼ੀ। ਸਤ ਸ੍ਰੀ ਅਕਾ
Reply audio in drive
Reply
ਟਵਿੰਕਲ ਦੇ ਲੇਫ਼੍ਟ ਹੋ ਜਾਣ ਮਗਰੋਂ ਕੋਈ ਹੋਰ ਮੈਂਬਰ ਇਸ ਲੈੱਟਰ ਅਤੇ ਆਡੀਓ ਦੇ ਜੁਆਬ ਵਿੱਚ ਕੁੱਝ ਸਪਸ਼ਟੀਕਰਨ ਚਾਹੁੰਦਾ ਹੈ ਤੇ ਲਿਖੇ ਕਿ ਹਾਂ । ਵਰਨਾ ਜੇ ਕੋਈ ਗਲਤ ਫਹਿਮੀ ਪਾਈ ਬੈਠਾ ਹੈ ਤੇ ਉਸਦੀ ਮਰਜੀ।  ਸ਼ਾਇਦ ਮੇਰੀ ਗਲਤੀ ਹੈ ਕਿ ਲਿਖਣ ਵੇਲੇ ਸਾਰੇ ਟੋਪੀਕ ਇਕੱਠੇ ਜੁੜ ਗਏ ਹਨ। ਖ਼ਾਸ ਕਰ ਦਿਡੋਰੇ ਬਾਰੇ ਉਹ ਹੁਣ ਵਾਲਾ ਮਸਲਾ ਨਹੀਂ ਮਿੱਕੀ ਵਲੋਂ ਖੁਖਬਰ ਛੁਪਾਉਣ ਬਾਰੇ ਵੇਲੇ ਦਾ ਸੀ। ਉਸਦੀ ਇਕ ਗਵਾਹ ਹੈ, ਜੋ ਆਪੇ ਬੋਲੇਗੀ। ਧੰਨਵਾਦ ।

एक पत्र बहू के नाम

हेलो! बेटी हरनीत कौर (बहू)
क्या हाल हैं आपके और अनहद के?
उम्मीद रखता हूँ कि सब ठीक होगा।
बेटी, मेरे लिए प्रत्यक्ष गवाह तो तुम ही हो कि मैंने तुम्हें दिल से और आरम्भ से अपनी बहू कम बेटी माना था। पर तुमने हमारे परिवार के सपने को चूर चूर कर दिया। तुम्हें पता है कि तुम गलतियां करती हो, जिसकी लिस्ट बहुत लंबी है, वो भी सबूत सहित। पर पता नहीं तुम में इतना क्रोध, अहंकार और नियत में खोट क्यों हो। इतना पढ़ लिख कर भी न तुममे शर्म है न लिहाज़। निम्रता तो बिल्कुल है ही नहीं। पता नहीं तुम किसी या अपने परिवार के बहकावे में आती हो। जिससे जाने अनजाने अपना व अपने बेटे का भविष्य बर्बाद करने पर तुली हुई हो। भला तुम्हें हमारे घर में क्या कमी लगती हो, जो यूँ बार बार बिना किसी की इजाज़त अपने मायके की ओर भागती हो , जब कि भगवान जानता है कि इस घर में तुम कितने घण्टे रोज अपने घरवालों से मोबाइल पर बात करती हो। क्या ससुराल की एक एक बात अपने परिवार को बताना जरूरी है। जब कि तुम्हारे पापा हर बार माफी के साथ इस बात का खेद जताते थे कि हम उधर से कोई गैर जरूरी बात पर फोन न करेंगे न सुनेगे।
अब रही आरोपों की बात कि तुम्हें जयदीप में किस बात की कमी लगती है जो उसको इज्जत से बात नहीं करती। मैंने तो नहीं सुना कि EDUCATETED GIRL इतना तू तड़ाक व कड़वा बोल सकती है। 
क्या वो शराबी है?
क्या वो अय्याश है?
क्या वो जुआ खेलता हैं?
क्या वो नपुंसक है?
क्या वो कमाता नहीं है?
क्या जयदीप ने अपनी ससुराल से कोई सम्मान या सामान (दहेज़) की मांग की? उल्टा तुम्हारे पापा ने मंगनी की अंगूठी भी मेरे से ले कर पहनाई थी।
क्या वो लँगड़ा, लूला है? सुंदर नहीं है।
क्या वो तुम्हें शॉपिंग होटल में ईटिंग नहीं करता?
इसके जवाब में यदि हम तुम्हारी कमजोरी निकालने लगें तो जैसे मैंने कहा लिस्ट इतनी लंबी है। कि सुनते सुनते तुम शर्मिंदा हो जाओगी। पर मैं चाहता हूं कि बहु बेटी है इस तरह से सबके सामने आरोप लगाना ठीक नहीं।
दूसरी बात तुम्हारी सास की। कि कब उसने तुम्हें बिस्तर पर नाश्ता डिनर नहीं दिया? कब तुमने उसके या मेरे कपड़े धोए? जयदीप के भी अभी दो महीने हुए तुम्हे धोने को कहा । उसमें भी तुम और एक समय की रोटी बनाने में भी कन्नी काट जाती हो। अपनी नींद व सोने के समय का भी अंदाजा तुम स्वंय लगाओ कि कब 11 बजे से पहले उठी हो? बच्चे के होने से पहले व बाद में तुम्हारी व उस बच्चे की तुम्हारी सास द्वारा सेवा को तुम भूली नहीं होगी।
हमारे परिवार में न कोई तुम्हारा देवर है न नन्द, न कोई बड़ा बुजुर्ग है जिसकी तुम्हे टटी पोंछनी पड़ती है। ऊपर से अपना घर। अलग से ac कमरा, अलग बाथरूम, घर का राशन फुल। नीचे स्कूटी व वेगनआर गाड़ी। फिर भी यदि तुम्हारा दिल नहीं लगता तो उस मायके के आसपास कोई तो है जिस से तुम्हारा दिल लगा हुआ है, जिससे मिले बगैर तुम्हारा मन नहीं  मानता। उसके सबूत भी है पहले ऒर शादी के बाद के भी। जिसके सभी को दिखाने के लिए भी मेरी आत्मा नहीं मानती कि तुम बहु बेटी हो ।
इधर तुम्हारा पापा भी हमें सॉरी और तुम्हे भड़काता रहा हमारे खिलाफ। वो जो ताऊ जी आये थे वो अब कहते हैं कि मैं आगे से हरनीत की गारंटी लेता हूँ ओर तुममे से कोई जयदीप की गारंटी ले। इस बात को रखने से पहले वो अपनी पिछली गारंटियों की बात करे कि क्यों अपना मोबाइल नम्बर दे गया था कि कोई बात हो तो मझे कहना, जबकि तीन बार फोन किया, वो टाल गया । ऊपर से अपने पुराने जवाई जैसा हमारा हश्र करने की धमकी देता है कि कैसे उनके परिवार को मोटे fir दर्ज करवा व सभी परिवार (बहन जीजा, सास ससुर) को बंद करवाने की धमकी देता था। दुकान मकान अलग से सील करवाई। बेल केंसिल करवाई। आखिर 60 लाख लेकर उन्हें छोड़ा। जबकि लड़की की शादी पर 20 लाख ही खर्च हुआ था। क्या ऐसे ही हमसे करना चाहते हो क्या?इससे तुम अपना ससुराल घर बचा के रख पाओगी। सच सच बताना यदि बच्चे से प्यार है तो कि क्या तुम्हारे पापा ने बच्चे के पहली बार नानके जाने की हमारी एक मात्र शर्त (कुते से दूर रखने की)  को हामी भर कर मुकर नहीं गया था। फिर पूछने पर जो गालियां उसने जयदीप और उसकी ममी को दी थी कि नहीं? तुम्हे सब सच्चाई पता है। वैसे भी तुमने कहा था कि वो बात आपने टेप कर रखी हैं तो फिर सबको सुनाते क्यों नहीं?  उल्टा मैने तेरे ताया जसपाल सिंह की विक्की से कही धमकी भरी बातें ऑडियो पर टेप हैं। उसको जब कभी तुम्हे और हमारे पर झूठे आरोप लगाने पर पुराने समधी को सुना सकता हूं जहां से अभी अमाउंट नहीं मिला है ।

बेटी अब भी एक आखरी चांस है तुम और तुम्हारे पापा तुम्हारी सास के पॉव पकड़ कर अपने किये की माफी मांग कर , व अपने बच्चे को अपनी गोद में ले कर कह दो कि यह सब आगे से नहीं होगा। तो मैं भी तुम्हे माफ कर दूंगा। । जयदीप की गारंटी तुम खुद हो और ऊपर लिखे सवालों का जवाब सही सही देकर दे सकती हो।  मेरी पत्नी का दिल इतना बड़ा है कि इन सबके बाद वो तुम्हारे द्वारा दी हर गाली भूल जाएगी।
उल्टा तुम्हारा कैसा दिल है कि अब चार महीने से ऊपर हो गया, पहले भी जब कभी मायके गई कभी बच्चे का मुंह तक नहीं दिखाया। इन बूढे सास ससुर को पोते का मुंह न दिखाकर तुम्हें क्या मिलेगा।

यदि अब भी तुम्हारी जिद है कि तो सिर्फ मोबाइल पर या whatsapp पर न में जवाब दो।  फिर जो होगा कानून के हिसाब से होगा वो भी सभी सबूत जग जाहिर कर के
धन्यवाद। बात सुनने की
आपका पिता समान ससुर।
गुरमीत सिंह
14 नवम्बर 2018

Wednesday, 15 August 2018

नक्सली टिप्पणी

#सरदार_असरदार_होते_हैं!

क्या कारण है कि दूसरे लोगों का सिख व सिख समुदाय के प्रति चुटकला, टिप्पणी, कटाक्ष, भेदभाव व शारीरक हमले के बावजूद इनका वज़ूद घटने के बजाए दुगना-तिगुना हुआ है?

सबसे ताज़ा मिसाल अमेरिका में एक शहर एश्लैण्ड में भारतीय मूल के एक 'द किंग डिनर' रेस्तरां मालिक जो कि एक सिख है, पर एक ग्राहक ने उस पर एक नक्सली टिप्पणी कर डाली। ग्राहक ने उसके यहां खाना खाने के बाद एक फीड बैक में अपने बिल भुगतान के बाद अपने पैसे को एक आतंकी संस्था 'अल कायदा' को फंड देने की बात कही और बकायदा फेसबुक पर पोस्ट भी कर दी।

इस पोस्ट पर हैरानगी जताते हुए उस सिख ने जवाब में अपना कमेंट लिख कर डर जताया कि कहीं इस ग्राहक के समर्थक इस रेस्तरां में एकत्र हो मेरा 2010 से बसा आशियाना न उजाड़ दें!

वो स्थान कोई भारत तो है नहीं कि ऐसे भेदभाव भरे कटाक्ष को कोई गंभीरता में नहीं लेता।पर सरदार जी की इस कमेंट से मानो, वहां अमेरिका में तो जैसे हड़कंप मच गया ।
आसपास के अमेरिकी व सभी समुदाय के लोगों ने उस रेस्तरां व सिख मालिक के समर्थन में एकत्र हो उससे सहानुभूति व सुरक्षा दिलाने का वादा किया ।

यही नहीं बात फैलने पर हफ्ते दो हफ्ते में उस साधारण  रेस्तरां का रश व आमदनी भी दोनी-चौगनी हो गई। जिनका उस सिख परिवार ने शुक्रिया अदा किया है।

#Courtesy
नवभारत टाइम्स

Monday, 13 August 2018

to Jaspal Singh, Jagjeet singh

सर जी, आपने जोनी की गारंटी मांगी है
पहले उसकी कमी बताओ
1, क्या वो नशा करता है?
2, क्या वो जुआ खेलता है?
3, क्या वो नपुंसक है?
4, क्या वो कमाता नहीं है?
5, क्या उसका कोई अफ़ेयर है?
6, क्या उसके पास घर नहीं है?
7, क्या वो शारीरक कमज़ोर है
8, क्या वो लगड़ा लूला है?
9, क्या उसके घर में राशन नहीं है?
10, क्या वो निक्की को घुमाने के लिये नहीं पूछता?

अब निक्की की कमियां जान लो
1, पढ़ी लिखी होने के बावजूद कोई गुण नहीं।
2,नौकरी वो नहीं करना चाहती
3, ट्यूशन वो नहीं पढ़ाना चाहती।
4, रोटी वो बनाना नहीं जानती। परोसना या खाने के बर्तन तक वो नहीं उठाती।
आंखे एक 9 एज 15 नम्बर हैं
वजन और शरीर कमजोर है
चेहरे पर बालों का गुच्छा उगता है
15 घण्टे सोती है। 12 से 11 फिर 3 से 6।
चार घण्टे चैटिंग करती है।
कपड़े शॉपिंग की पहचान नहीं
होटल का मेनू चॉइस नहीं आता।
ऐसी में सो वह सफर नहीं कर सकती।
बस ट्रैन में उल्टी आती है।
पहाड़ों ऊंचाइयों से डर लगता है।
नहाती वो नहीं रोज़
पेस्ट वो नहीं करती रोज़
कंप्यूटर चलाना उसे नहीं आता।
पाठ पूजा उसने कभी की नहीं
गुस्सा उसके नाक पर रहता है।
बाज़ार अकेले नहीं जा सकती।
अपना बिस्तर तक सीधा नहीं करती
साइकल स्कूटी वो चला नही सकती।
कोई सहेली पड़ोसन भाबी इसकी मित्र नहीं
मायके में एक बॉय फ्रेंड पाल रखा है
रोज़ मायके 4 घण्टे फोन और 4-5 दिन की विजिट महीने की।

Tuesday, 7 August 2018

जसपाल की धमकियां

जसपाल की धमकियां
उनको बिल्कुल ठीक के देनेगे
चाची के पास 15 हज़ार का फोन
निक्की का 200 का फोन
गाली हम बकने लगे
तेरे मा की
जैसे चूड़े भंगी
यह हमारा बेटा नहीं है
तुन बेड कैरेक्टर है फिर भी वो चुप रही
रिया गई समान ले आई
काके को डांट। की मैं ऊपर जाकर हाथा पाई करता
क्या कारण था कि विक्की परिवार इस रिश्ते से दूर रहना चाहता था असल कारण
बड़ा भाई लाल पीला
उस बच्ची व बच्चे का क्या करें
गन्दे गन्दे aligation
वो गरीब हैं पहले दिन पता था तो फिर हमें उससे लड़ने की जरूरत क्यों आन पड़ी
ज अगर अमीर हो तो ठाट से रखो। सो सो रुपये के पटरी के कपड़े अपने पोते को पहनाते थे
ग यदि तुम अमीर हो तो तुम क्यों नहीं भेज देते
विक्की जो इल्जाम काका ने बताये वो बोल रहे हो। दूसरी पार्टी से भी पूछो।
ज। हम बैठने को तेयारहै उनसे पूछो
अपना जवाई।
यहां लडक़ी का अफ़ेयर है जो साबित होता है।
जोनि की मां को लड़की से प्रॉब्लम है?
जोनि को क्या प्रॉब्लम है वो बताए
,*जिम्मेवारी
*मैन अपने जवाई की बेल अग्रिम नहीं होने दी(किसी की भी) मैनी सारे परिवार को लपेट लिया   उ
मैं 10-20 मेजिस्ट्रेट को भी जानता हूँ।
मैंने मोटी fir की
जब केस खत्म होगा मेरे को अमाउंट मिल जाएगा

इस केस में कौन जिम्मेवारी लेगा, प्रधान कौन बनेगा जो दोनों पार्टियों को कहेगा कि तुम ऐसा मत करना। तुम वैसा मत करना।
वो यानी जोनि हरी मुकर जाने पर जिम्मेवारी कौन लेगा।
ओर उधर से कौन लेगा
एक लिखत एग्रीमेंट
वो लड़का लेगा जिसने पहले फैंसला करवाया था उसके पीओ विच दम है जो तेरे चाचे को समझा सके

जसपाल जी आपने पहले भी निक्की की जिम्मेवारी ली थी जब लारेंस रोड में। फोन नम्बर दियाथा। जब दिक्कत पर फोन किया तो मुक्कर क्यों गए
ममी रोटी सब्जी दाल जो बनाएगी सब खाएंगे पर निक्की कब बनाएगी या सीखेगी की सब खाएंगे?
समझौते में सभी कहें
उनसे कहो कि हर चीज की लिमिट होती है। पर हमें मत कहो लीन क्रॉस मत करो
काके को थपड़ मारा हम बर्दाश्त कर गए। क्यों मारा यह बताना भी जरूरी है
काके के कट भी लगा मुह पर।
काके ने जो कुत्ते के मामले में जोनि को उसकी ममी को जो गालियां दी रंडी जैसी उसका क्या
जब हम कुत्ते के चक्कर में ऐंठ गए तो काका फैमिली ने कहा कि छड़ प्रा

उनसे कहो कि तलाक की बात छोड़ दो बहुत भारी पड़ेगा।
पोते का दादे की प्रोपटी पर पूरा अधिकार होता है। निक्की है ही हिस्सेदार देते देते उनकी गांड फट जाएगी।

Wednesday, 1 August 2018

एक पत्र विक्की को

वीर जी द्वारा 'वाहिगुरू आख' के इलावा कोई उधर से रिप्लाई नहीं आ रहा है, मुझे कोई सलाह दे विक्की। में बहुत परेशान हुन

आप मेरे से बात क्यों नहीं करते। इस मुशिकल घड़ी में मैं और कहां जाऊं। मैं आपसे कोई पैसे नहीं मांग रहा हूँ, सिर्फ सलाह मांगनी है। ठीक है, मेरे से पहले गलती हुई जो जबरदस्ती जोनी की शादी आप के मना करने में करवाई। उस गलती की सज़ा जीते जी अपने बेटे को नहीं भुगतने दूंगा।  मैं निक्की को अपनी बेटी मानते हुये उसकी दूसरी शादी जिसको वो अभी भी चाहती है, का खर्चा करने को तैयार हूं । जगजीत को भी जो जायज हो पैसे दे दूंगा । यदि अगमदीप हमारा है तो उसे हमें सोंप दें नहीं तो लिखा पढ़ी करवा दें । मुड़ कर हम आपको अपनी शक्ल तक नहीं दिखाएंगे। वैसे भी हमने अपने मकान बेच दिए हैं। कहीं दूर सकून में रहने का विचार है। प्लीज बात तो करें गुरमीत 12/2/2018

विक्की बेटे, सत श्री अकाल। मैं आप का चाचा मीता।
मुझे नहीं पता, मेरे और मेरे परिवार के प्रति आपके परिवार को हमारे घर के क्लेश संबधी क्या सूचनाएं मिल रही हैं जो आपने हमारे से जो संबध विच्छेद कर लिया है।
जब पिछली बार हमारी निक्की बहु अपने बेटे को पहली दफा अपने मायके गई थी और जगजीत (काका) द्वारा एक कुत्ते को बच्चे के नज़दीक न रखने के
प्रोमिस के बाद मुकरने से शुरू हुई बात से लेकर आपसी मारपीट, पुलिस के बुलाने से लेकर उनके द्वारा ही निक्की को घर से  सामान सहित ले जाने तक की है। जिसकी जानकारी उसी समय आपके परिवार के किसी न किसी सदस्य को दे दी गई थी।
आप द्वारा हमारे से किसी प्रकार की सफाई न मांगे जाने के दो कारण लिये मैं बहुत दिनों से क्षुब्ध था।
खैर आपका मन मस्तिष्क, व हक है कि अपने मन में हमारे प्रति हमारे आचरण, व गुस्से के क्या कारण होने चाहिए, उसका फैंसला लेने का। उसमें हमारा कोई ज़ोर नहीं। और न ही हमें पता है कि मेरे भाई व मेरी भतीजियों को हमारे प्रति क्या किसी न उकसाया है कि वो हमें आजतक पोते को देखना तो दूर की बात , बधाई तक देने की फुर्सत नहीं है।
खैर इस बात को भी छोड़ो। अब क्योंकि दोनों पार्टियों का फैंसला है कि हमने आगे से नहीं निभानी, तो बीच में लिखा पढ़ी के लिए किसी को तो पड़ना ही पड़ेगा।
मैं सोचता हूँ कि की किसी कारण भी हमें अब अपने अनहद का मोह नहीं है और कानून भी उसे अपनी मां के पास रखने का हक देता है और निक्की भी हमें व सारे मोहल्ले में कह आई है कि मुझे अब यहां नहीं रहना और अब वापिस नहीं आउंगी।
यदि आप लोग राज़ी हों तो लेन देन व गोल्ड वापसी की प्रकिर्या में गवाह बने। बशर्ते कोर्ट जाने के। क्योंकि हमारी आपसी रजामंदी है कि अलग हो जाएं।
उसको साथ न रखने का एक कारण जो लेटेस्ट व बहुत अजीब है कि निक्की द्वारा सरे आम मेरी बचपन की लाइफ में चालीस साल पहले सुनी गई  रंडी वण्डी, सियापा, तू तड़ाक जैसी गालियां को छोड़ भी दो तो अब नई धमकियां कि मुझे सुते ही सुला देना, जोनि को पकोड़ों की डिमांड पर घर में सरसों के तेल को गर्म कर जला देना व वापसी अकेले में गोल्ड वापिस न करने की सुरत में इनका सारा परिवार कफ़न डाल लें।यह धमकियां कहीं हकीकत न हो जाएं, जिसका डर हमें अब उसे साथ न रखने से सावधान करता है। बातें बहुत हैं और on the recorded हैं करने का कोई फायदा नहीं। कृपया अलग करने का फैंसला करवा दीजिये। बहुत मेहरबानी। तम्हारा मित्ता चाचा। Aug 2, 2018

Reply from vicky
Mai aggei baat kerta hui but koi vadda nahi ker sukta bcs mere akkle ki nahi chalti or na hi mani jati hai
Bakki mai sub ko infrom ker deta hui bakki sare milker koi fasla le or aagei aaye
Ek sath

Bcs ye kaam badhei hi mil ker ker suktei hai per humare badho mei aub takat nahi hai sahi or galt ka fasla kernei ki or na nahi jantei hui sahi galt kya hai tub bhi osko sahi kehnei ki

Bakki rub hai sub thik kere sub sukhi rahe